कांग्रेस ने जनगणना को लेकर जारी की गई अधिसूचना पर उठाए सवाल, कहा- यह खोदा पहाड़, निकली चुहिया जैसा है

जयराम रमेश ने कहा कि आज की जो अधिसूचना आई है इसमें नई बात क्या है? इसमें यही कहा गया है न कि जम्मू-कश्मीर, हिमाचल और उत्तराखंड में अक्टूबर 2026 को भारत के अन्य राज्यों में मार्च 2027 को जनगणना होगी, यह तो 30 अप्रैल को ही घोषणा की गई थी तो यह बहुत प्रचारित अधिसूचना है... अंत में क्या निकला, यही जो 30 अप्रैल को आपने घोषणा की थी वही दोहराया है।

Jun 16, 2025 - 18:16
 0  162
कांग्रेस ने जनगणना को लेकर जारी की गई अधिसूचना पर उठाए सवाल, कहा- यह खोदा पहाड़, निकली चुहिया जैसा है

नई दिल्ली (आरएनआई) कांग्रेस ने सोमवार को केंद्र सरकार द्वारा 16वीं जनगणना को लेकर जारी की गई अधिसूचना को फीका बताया है। कांग्रेस ने कहा कि इस अधिसूचना में जाति को जनगणना में शामिल करने पर चुप है। कांग्रेस ने सवाल किया कि क्या यह सरकार का एक और "यू-टर्न" है। विपक्षी पार्टी ने जोर देकर कहा कि केंद्र को न केवल जातिगत गणना बल्कि जातिवार सामाजिक-आर्थिक मानकों पर विस्तृत डेटा लाने के लिए भी तेलंगाना मॉडल अपनाना चाहिए।

कांग्रेस के महासचिव जयराम रमेश ने कहा कि 2026 के अंत या 2027 की शुरुआत में होने वाली 16वीं जनगणना को लेकर बहुप्रचारित राजपत्र अधिसूचना जारी हुई है, लेकिन यह एक दम तोड़ती घोषणा है। एक्स पर जयराम रमेश ने लिखा कि लंबे इंतज़ार के बाद बहुप्रचारित 16वीं जनगणना की अधिसूचना आखिरकार जारी हो गई है। लेकिन यह एकदम खोदा पहाड़, निकली चुहिया जैसा है - क्योंकि इसमें 30 अप्रैल 2025 को पहले से घोषित बातों को ही दोहराया गया है।

उन्होंने कहा कि असलियत यह है कि भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस की लगातार मांग और दबाव के चलते ही प्रधानमंत्री को जातिगत जनगणना की मांग के आगे झुकना पड़ा। इसी मांग को लेकर उन्होंने कांग्रेस नेताओं को “अर्बन नक्सल” तक कह दिया था। संसद हो या सुप्रीम कोर्ट - मोदी सरकार ने जातिगत जनगणना के विचार को सिरे से खारिज कर दिया था। और अब से ठीक 47 दिन पहले, सरकार ने खुद इसकी घोषणा की।

कांग्रेस नेता ने आगे कहा, हालांकि आज की राजपत्र अधिसूचना में जातिगत गणना का कोई उल्लेख नहीं है। तो क्या यह फिर वही यू-टर्न है, जिसके लिए प्रधानमंत्री मोदी कुख्यात हो चुके हैं? या फिर आगे इसके विवरण सामने आयेंगे? भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस का स्पष्ट मत है कि 16वीं जनगणना में तेलंगाना मॉडल अपनाया जाए -यानी सिर्फ जातियों की गिनती ही नहीं बल्कि जातिवार सामाजिक और आर्थिक स्थिति से जुड़ी विस्तृत जानकारी भी जुटाई जानी चाहिए।

जयराम रमेश ने कहा कि तेलंगाना की जातिगत सर्वेक्षण में 56 सवाल पूछे गए थे। अब सवाल यह है कि 56 इंच की छाती का दावा करने वाले नॉन बायोलॉजिकल व्यक्ति में क्या इतनी समझ और साहस है कि वह 16वीं जनगणना में भी 56 सवाल पूछने की भी हिम्मत दिखा सकें?

जयराम रमेश ने कहा कि आज की जो अधिसूचना आई है इसमें नई बात क्या है? इसमें यही कहा गया है न कि जम्मू-कश्मीर, हिमाचल और उत्तराखंड में अक्टूबर 2026 को भारत के अन्य राज्यों में मार्च 2027 को जनगणना होगी। इसमें सिर्फ जनगणना की बात है, जातीय जनगणना की बात नहीं है...क्यों इसमें जाति को लेकर कोई जिक्र नहीं किया गया... इसमें जाति के बारे में कोई जानकारी नहीं दी गई, कितने सवाल होंगे, क्या सिर्फ गिनती होगी या सामाजिक, आर्थिक स्थिति पर भी सवाल होंगे इसके बारे में कुछ नहीं है। हेडलाइन बनाने के लिए उन्होंने यह अधिसूचना निकाली। बहुत से सवाल हैं और हम यह दबाव कायम रखेंगे कि तेलंगाना मॉडल राष्ट्रीय स्तर पर अपनाया जाना चाहिए।

Follow RNI News Channel on WhatsApp: https://whatsapp.com/channel/0029VaBPp7rK5cD6X

What's Your Reaction?

Like Like 0
Dislike Dislike 0
Love Love 0
Funny Funny 0
Angry Angry 0
Sad Sad 0
Wow Wow 0
RNI News Reportage News International (RNI) is India's growing news website which is an digital platform to news, ideas and content based article. Destination where you can catch latest happenings from all over the globe Enhancing the strength of journalism independent and unbiased.