सरकार ने घटाई रक्षा खरीद की समयसीमा, रक्षा सचिव बोले- इससे 69 हफ्तों का समय बचेगा

राजेश कुमार सिंह का यह बयान ऐसे समय आया है, जब हाल ही में वायुसेना प्रमुख एयर चीफ मार्शल एपी सिंह ने सीआईआई बिजनेस समिट में रक्षा परियोजनाओं में देरी, अवास्तविक समयसीमा निर्धारण और व्यवस्थागत मुद्दों पर नाराजगी जताई थी।

May 31, 2025 - 15:04
 0  216
सरकार ने घटाई रक्षा खरीद की समयसीमा, रक्षा सचिव बोले- इससे 69 हफ्तों का समय बचेगा

नई दिल्ली (आरएनआई) रक्षा सचिव राजेश कुमार सिंह ने बताया कि रक्षा मंत्रालय ने रक्षा खरीद की समयसीमा को काफी कम किया है, जिससे सैन्य उपकरणों की खरीद में अच्छा खासा समय बचेगा। रक्षा सचिव ने बताया कि रक्षा खरीद में व्यापक सुधारों और रक्षा क्षेत्र में आत्मनिर्भर बनने के उद्देश्य से ये सुधार किए गए हैं। राजधानी दिल्ली में एक रक्षा सम्मेलन में बोलते हुए रक्षा सचिव ने कहा कि इस पूरे सुधार से रक्षा खरीद की प्रक्रिया में 69 सप्ताह का समय बचेगा।

रक्षा सचिव ने कहा कि रक्षा खरीद प्रक्रिया 2020 में बदलाव किए जा रहे हैं। जिनके मुताबिक पारंपरिक नामांकन-आधारित लागत-प्लस खरीद से प्रतिस्पर्धी मूल्य निर्धारण मॉडल में स्थानांतरित किया जा रहा है, जहां सार्वजनिक और निजी दोनों क्षेत्र ऑर्डर के लिए प्रतिस्पर्धा कर सकेंगे। पोत निर्माण और एएमसीए प्रोजेक्ट में पहले ही ये बदलाव कर दिए गए हैं। राजेश कुमार सिंह का यह बयान ऐसे समय आया है, जब हाल ही में वायुसेना प्रमुख एयर चीफ मार्शल एपी सिंह ने सीआईआई बिजनेस समिट में रक्षा परियोजनाओं में देरी, अवास्तविक समयसीमा निर्धारण और व्यवस्थागत मुद्दों पर नाराजगी जताई थी। उन्होंने इस देरी से सेना की परिचालन तत्परता पर पड़ने वाले असर पर गंभीर चिंता जाहिर की थी। सिंह ने भारत की रणनीतिक स्वयात्ता को बनाए रखने की जरूरत और विकसित भारत के विजन को हासिल करने के लिए आत्मनिर्भरता की भूमिका पर बल दिया। वायुसेना प्रमुख ने निजी उद्योगों से घरेलू रक्षा पारिस्थितिकी तंत्र को मजबूत करने के लिए अनुसंधान और विकास (आरएंडडी) और पूंजीगत उपकरणों में भारी निवेश करने का आग्रह भी किया।

सीआईआई बिजनेस समिट में बोलते हुए उन्होंने हुए कहा, कई बार करार पर हस्ताक्षर करते वक्त ही हमें पता होता है कि ये सिस्टम समय पर नहीं मिलेंगे। फिर भी हम अनुबंध पर हस्ताक्षर कर देते हैं। मैं ऐसी कोई एक भी परियोजना नहीं बता सकता जो समय पर पूरी हुई हो। इसलिए हमें इस पर गौर करना होगा। हम ऐसा वादा क्यों करें जो पूरा नहीं हो सकता?

रक्षा सचिव राजेश कुमार सिंह ने कहा कि देश की अर्थव्यवस्था को साल 2047 में 32 खरब डॉलर बनाने के लिए भी रणनीतिक स्वायत्ता के लिए आत्मनिर्भरता जरूरी है। उन्होंने कहा कि बीते दशक में रक्षा क्षेत्र में शुरू हुए स्वदेशीकरण के चलते साल 2015 में जहां भारत हथियारों का सबसे बड़ा आयातक था, तो आज हमारा देश शीर्ष 25 निर्यातकों में शामिल हो गया है। 100 से ज्यादा भारतीय कंपनियां 100 से ज्यादा देशों को सैन्य उपकरण निर्यात कर रही हैं। सैन्य उपकरणों में ब्रह्मोस मिसाइल, रॉकेट लॉन्चर पिनाका, सिमुलेटर आर्मर्ड व्हीकल आदि शामिल हैं। सिंह ने कहा कि बीते साल हमने 23,622 करोड़ रुपये के हथियार निर्यात किए। घरेलू खरीद जहां साल 2014 में 43,746 थी, वो 2023-24 में 1,27,000 करोड़ रही। 

Follow RNI News Channel on WhatsApp: https://whatsapp.com/channel/0029VaBPp7rK5cD6X

What's Your Reaction?

Like Like 0
Dislike Dislike 0
Love Love 0
Funny Funny 0
Angry Angry 0
Sad Sad 0
Wow Wow 0
RNI News Reportage News International (RNI) is India's growing news website which is an digital platform to news, ideas and content based article. Destination where you can catch latest happenings from all over the globe Enhancing the strength of journalism independent and unbiased.